Header Ads

बच्चे बिना जूते-मोजे के जा रहे स्कूल:- अभिभावकों के आधार में त्रुटि से खातों में नहीं पहुंची रकम, पंजीकरण की प्रक्रिया भी पूरी नहीं

 बच्चे बिना जूते-मोजे के जा रहे स्कूल:- अभिभावकों के आधार में त्रुटि से खातों में नहीं पहुंची रकम, पंजीकरण की प्रक्रिया भी पूरी नहीं

बस्ती। ठंड शुरू हो गई है, लेकिन परिषदीय स्कूलों के तमाम बच्चों को जूते-मोजे और स्वेटर नहीं मिल सके हैं। ऐसे में उन्हें ठिठुरते हुए स्कूल जाना पड़ सकता है।

जिले में 2206 परिषदीय विद्यालय हैं। इनमें 1437 प्राथमिक, 320 जूनियर और 319 कंपोजिट विद्यालय शामिल हैं। 214649 बच्चे पंजीकृत है। सहायता प्राप्त और मदरसे के बच्चों को यूनिफार्म, जूते, मोजे व स्वेटर का इंतजार है। शिक्षा विभाग से धनराशि स्वीकृत हुई है, लेकिन डीबीटी के तहत बच्चों के अभिभावकों के खातों की जिला स्तर पर पंजीकरण की प्रक्रिया पूरी नहीं हो पाई है। केवल एक लाख 55 हजार बच्चों का ही पंजीकरण हो सका है।


प्रक्रिया ऑनलाइन होने की वजह से तमात तकनीकी दिक्कतें सामने आ रही हैं। कई अभिभावकों के आधार में त्रुटि होने व बिना लिंक वाले खातों में रकम नहीं पहुंच पा रहा है। इससे बच्चों को ड्रेस से वंचित होना पड़ सकता है।

जबकि शासन ने बच्चों को निशुल्क ड्रेस, जूते, मोजे और स्वेटर अक्तूबर में ठंड शुरू होने के पहले ही देने का दावा किया था। नवंबर शुरू होने वाला है, लेकिन बच्चों को अब तक कुछ नहीं मिला। ठंडक भी दस्तक दे रही है। बच्चे बिना जूते और मोजे के स्कूल आ रहे हैं। इसके बावजूद बेसिक शिक्षा विभाग लापरवाह बना है। शासन ने ठंड को देखते हुए एक अक्तूबर से विद्यालय का समय सुबह नौ से दोपहर तीन बजे तक कर दिया है।

कोई टिप्पणी नहीं