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चार माह से रसोइयों को नहीं मिला मानदेय, सामने खड़ा हुआ आर्थिक संकट

फिरोजाबाद। परिषदीय स्कूलों में मध्याह्ल भोजन पकाने वाले रसोइयों को बीते चार माह से मानदेय नहीं मिला है। इससे जिले के 4287 रसोइयों को आर्थिक संकट से जूझना पड़ रहा है। बेसिक शिक्षा विभाग बजट न होने का हवाला देते हुए मानदेय न दिए जाने की बात कह रहा है।


जनपद में 1528 विद्यालयों में रसोइया मध्याह्न भोजन पकाती हैं। इन्हें 15 सौ रुपये मानदेय दिया जाता है। कोरोना के कारण लंबे समय से विद्यालय बंद चल रहे हैं। मगर, यह रसोइया विद्यालय में अपनी ड्यूटी निरंतर दे रहे हैं। शैक्षणिक सत्र 2021-22 में सितंबर माह तक मानदेय दिया जा चुका है। उसके बाद से चार माह का मानेदय नहीं मिला है। महंगाई के दौर में चार माह से मानदेय न मिलने के कारण रसोइयों के सामने आर्थिक संकट खड़ा हो गया है।

- बजट के अभाव में रसोइयों को मानदेय नहीं दिया जा सका है। करीब 75 लाख रुपये का बजट आया है। इसी सप्ताह एक माह का मानदेय रसोइयों के खातों में पहुंच जाएगा। शेष मानदेय बजट आने पर दिया जाएगा।
सोनू कुमार, प्रभारी, मध्याह्न भोजन

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