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परिषदीय शिक्षक की हत्याकर शव सड़क किनारे फेंका, पढें पूरा मामला

मनकापुर(गोंडा)। रुपये के लेनदेन में गांव साबरपुर के एक शिक्षक की अज्ञात लोगों ने गला घोटकर हत्या कर दी। हत्या के बाद आरोपियों ने शव को आईटीआई मनकापुर के पास एक गड्ढे में फेंक कर फरार हो गए। बुधवार सुबह शव मिलने पर पुलिस ने पड़ताल की शुरू की तो मामला रुपयों के लेनदेन का सामने आया है। पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम को भेजा है। शिक्षक की पत्नी की तहरीर पर कोतवाली मनकापुर में एक व्यक्ति को नामजद कर दो अज्ञात लोगों के खिलाफ हत्या समेत विभिन्न धाराओं में केस दर्ज कराई गई है।

थाना खोड़ारे क्षेत्र के ग्राम साबरपुर के रहने वाले शिक्षक अभिषेक त्रिपाठी (42) की मंगलवार की रात कुछ लोगों ने गला घोटकर हत्या कर शव आईटीआई के समीप गड्ढे में फेंककर फरार हो गए। अभिषेक की पत्नी बबिता त्रिपाठी ने पुलिस को बताया कि पति अभिषेक त्रिपाठी पुत्र स्वर्गीय रमाकांत त्रिपाठी उर्फ झिनकन त्रिपाठी समरूपुर जूनियर हाईस्कूल में सहायक अध्यापक के पद पर कार्यरत थे। पत्नी के मुुताबिक, बच्चों को पढ़ाने के लिए पति और बच्चों के साथ आईटीआई मनकापुर में किराये पर रहती थी। उसकी चचेरी सास का निधन हो गया था। इसलिए वह परिवार के साथ गांव चली गई थी। पांच दिन पहले दोनों बच्चों को ननद माया देवी के साथ आईटीआई भेज दी थी। जबकि पति अभिषेक के साथ गांव पर रुक गई थी। अभिषेक गांव से स्कूल आते-जाते थे। अभिषेक की बहन माया ने बताया कि मंगलवार को अभिषेक गांव से स्कूल गए थे। वहां से आईटीआई पहुंचे और मनकापुर के एक कपड़ा व्यापारी से पैसों के लेनदेन की बात कर रहे थे। इसी बीच बाइक से आए दो लोग उन्हें संग बुला ले गए।


बबिता ने बताया कि अभिषेक की कॉल आई और बेटे अंशू को शाम छह बजे रेलवे स्टेशन पर बुलाया। लेकिन अभिषेक नहीं पहुंचे, काफी देर इंतजार के बाद वह लौट आया। बबिता ने बताया कि 15 लाख रुपये को लेकर अभिषेक की संग बुलाकर ले गए लोगों ने गला घोंटकर हत्या कर दी और शव को आईटीआई के पास गड्ढे में फेंक दिया। हत्या की सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम को भेजा है। बबिता त्रिपाठी ने कोतवाली मनकापुर में वीरेंद्र त्रिपाठी निवासी कुड़वासीर मनकापुर व दो अन्य के खिलाफ हत्या समेत विभिन्न धाराओं में केस दर्ज कराया है। प्रभारी निरीक्षक संजय कुमार गुप्ता ने बताया कि वीरेंद्र त्रिपाठी व दो अन्य के खिलाफ हत्या की रिपोर्ट दर्ज की गई है।
कॉल डिटेल से खुलेगा हत्या का राज
अभिषेक त्रिपाठी की हत्या के बाद पुलिस ने उसके मोबाइल का सीडीआर खंगालना शुरू कर दिया है। कॉल डिटेल से पुलिस हत्या के राज को खोलने की तैयारी कर रही है। हत्या से पहले सीडीआर में जिन नंबरों पर अभिषेक की बातचीत हुई है। ऐसे सभी लोग पुलिस की जांच के दायरे में आ गए है। इनमें एक प्रतिष्ठित कपड़ा व्यापारी का नाम भी शामिल है। फिलहाल पुलिस सीडीआर के साथ ही सभी पहलुओं पर जांच कर रही है।
पैसे के लेनदेन को लेकर वीरेंद्र से हुआ था झगड़ा
थाना छपिया क्षेत्र के साबरपुर गांव के रहने वाले अभिषेक त्रिपाठी ने मनकापुर के रहने वाले वीरेंद्र त्रिपाठी को 15 लाख रुपये उधारी दी थी। काफी दिन बीतने के बाद भी वीरेंद्र ने अभिषेक के पैसे वापस नहीं किए तो उसने पैसों की मांग की। दोनों के बीच झगड़ा भी हुआ था। अभिषेक घर नहीं लौटा और आईटीआई के पास उसका शव पड़ा मिला।
तीन बजे रात जाती रही कॉल, नहीं उठा मोबाइल
- अभिषेक त्रिपाठी के बताए गए शाम छह बजे तक घर वापस होने की सूचना के बाद जब वह घर नहीं पहुंचा तो बच्चे पिता के मोबाइल फोन पर रात तीन बजे तक कॉल करते रहे। मगर कॉल रिसीव नहीं हुई। मोबाइल स्विच ऑफ बताने लगा। बुधवार की सुबह अभिषेक का शव मिलने के बाद मौके पर पुलिस पहुंची तो मोबाइल फोन गायब था।

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