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त्यौहारी पैकेज : 15 लाख कर्मियों में 300 ने भी नहीं किया आवेदन, कर्मचारियों को लुभाने में फेल साबित हुई योजना, 31 को खत्म हो रही पैकेज की समयसीमा

 त्यौहारी पैकेज : 15 लाख कर्मियों में 300 ने भी नहीं किया आवेदन, कर्मचारियों को लुभाने में फेल साबित हुई योजना, 31 को खत्म हो रही पैकेज की समयसीमा

लखनऊ। कोविड काल में प्रभावित अर्थव्यवस्था को रफ्तार देने के लिए सरकारी कर्मचारियों के लिए त्योहारी पैकेज का प्रयोग फेल साबित हुआ है। पांच महीने से चल रही इस योजना में प्रदेश के 15 लाख कर्मचारियों में से



सिर्फ तीन सौ कर्मचारियों ने भी आवेदन नहीं किया। योजना इसी 31 मार्च को समाप्त हो रही है। प्रदेश सरकार ने बाजार में मांग बढ़ाने के लिए केंद्र से कर्मचारियों के लिए घोषित त्योहारी पैकेज को राज्य में भी लागू किया गया था। 30 अक्तूबर 2020 को फेस्टिवल एडवांस योजना का लाभ लेने की प्रक्रिया संबंधी आदेश जारी हुआ था। तब से धनतेरस, दीपावली, क्रिसमस, नया वर्ष और मकर संक्रांति जैसे महत्वपूर्ण त्योहार बीत चुके हैं। लेकिन 15 लाख से अधिक कर्मचारियों वाले समूह में से 10 मार्च तक सिर्फ 269 ने ही पैकेज का लाभ लेने के लिए आवेदन किया है। सबसे ज्यादा सवा सौ आवेदन पुलिस रेडियो विभाग से आए हैं। इसके बाद अर्थ एवं संख्या प्रभाग से 43, रजिस्ट्रार सहकारी सोसाइटियां से 21, शहरी एवं नगर नियोजक से 19 तथा आंतरिक लेखा एवं ऑडिट विभाग से 15 आवेदन आए हैं। अन्य विभागों के आवेदनों की संख्या दहाई में भी नहीं है। इनमें ज्यादातर के त्योहारी कार्ड जारी किए जा चुके हैं। बाकी बचे लोगों के त्योहारी कार्ड उपलब्ध कराने की कार्यवाही चल रही है। जानकार बताते हैं कि कर्मचारियों की पैकेज को लेकर बेरुखी की मुख्य वजह पैकेज स्वीकृति की उलझाऊ प्रक्रिया है। कोषागार निदेशालय को इस पैकेज का लाभ दिलाने के लिए शासन ने नोडल विभाग बनाया था।



त्योहारी पैकेज के लिए करोब 300 आवेदन आए हैं। इनमें ज्यादातर को त्योहारी कार्ड उपलब्ध करा दिए गए हैं। जिनके बाकी हैं, उन्हें भी जल्द कार्ड मिल जाएंगे। - पंकज शर्मा, निदेशक कोषागार

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