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इस हालत में कैसे होगी सरकारी प्राइमरी स्कूलों में पढ़ाई, शहर के स्कूलों की हालत काफी खराब

 इस हालत में कैसे होगी सरकारी प्राइमरी स्कूलों में पढ़ाई, शहर के स्कूलों की हालत काफी खराब :-

राजधानी के प्राइमरी स्कूलों में कहीं बाउंड्री वाल गिरी है तो कहीं झाड़ियां उगी हुई हैं। किसी विद्यालय के कमर में आसपास के लोग रह रहे हैं तो कहीं जानवर घूम रहे हैं। ऐसी हालत में प्राइमरी स्कूलों में नवंबर से कैसे पढ़ाई हो पाएगी।बेसिक शिक्षा विभाग नवंबर में सरकारी प्राइमरी स्कूल खोलने की तैयारी में है। इस संवाददाता ने रविवार को प्राइमरी स्कूलों का जायजा लिया तो पता चला कि कई स्कूलों की हालत बेहद खराब है। ऐसी स्थिति में इन स्कूलों में


कैसे पढ़ाई होगी। पूर्व माध्यमिक विद्यालय आलमबाग की पूरी बाउंड्रीवाल ही ढह चुकी है। इसके परिसर में दिन भर आवारा जानवर घूमते रहते हैं। रविवार को यहां फील्ड में जानवर घूमते मिले। स्कूल के बरामदे में एक मजदूर सोता मिला। इसी तरह बेसिक स्कूल भदरुख स्कूल में गेट तो है लेकिन इसका ताला खुला था। अंदर कमरे में एक परिवार रहता मिला। परिवार के बुजुर्ग स्कूल के बरामदे में चारपाई डालकर सो रहे थे। प्राइमरी स्कूल अंबेडकर व जूनियर स्कूल अंबेडकर में एक निजी कंपनी ने छात्राओं के लिए टॉयलेट बनवाया है लेकिन वह पूरी तरह झाड़ियों से घिरा हुआ है। ---------------शहर के काफी स्कूलों की स्थिति खराबशहर के काफी स्कूलों की स्थिति खराब है। इसकी जानकारी भी विभाग के अधिकारियों को है। कुछ स्कूलों की बिल्डिंग जर्जर हो गई है तो कुछ में टॉयलेट नहीं है। ऐसे में स्कूल खुलने पर बच्चों को परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है।----------------कायाकल्प योजना से स्कूलों को सुधारने की तैयारी की गई है। इसके लिए अपर नगर आयुक्त के साथ बैठक हुई है। एक बैठक और होनी है। इसके बाद स्कूलों के सुधार का काम शुरू होगा।दिनेश कुमार, बेसिक शिक्षा अधिकारी, लखनऊ

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